दिग्गज उद्योगपति और आरपीजी ग्रुप के चेयरमैन हर्ष गोयनका ने शेयर की कीमतों को लेकर कई गंभीर सवाल उठाए हैं। उन्होंने शेयर की कीमतों में हेरफेर का आरोप लगाया है। उन्होंने सेबी और वित्त मंत्रालय से इस मामले में हस्तक्षेप करने और जांच करने का आग्रह किया, ताकि छोटे निवेशकों को बड़ा नुकसान होने से बचाया जा सके। वह सोशल मीडिया पर हर्ष खूब एक्टिव रहते हैं। हर्ष गोयनका ने हर्ष गोयनका ने शनिवार को सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म एक्स पर एक ट्वीट में लिखा कि भारतीय शेयर बाजारों में तेजी के बीच कई प्रमोटर मुनाफे को बढ़ा-चढ़ाकर बता रहे हैं। वह ब्रोकर्स के साथ मिलकर अपने स्टॉक की कीमतों को अवास्तविक स्तर तक पहुंचा रहे हैं। इसमें मारवाड़ी और गुजराती ब्रोकर भी शामिल हैं। उन्होंने कहा है कि कोलकाता में स्टॉक प्राइस से खिलवाड़ का खेल किया जा रहा है। उन्होंने इसे हर्षद मेहता और केतन पारेख युग की वापसी तक बता दिया है।हर्ष गोयनका ने र एक पोस्ट में बिना विस्तृत जानकारी दिए लिखा, “प्रमोटर मुनाफे को बढ़ा-चढ़ाकर दिखा रहे हैं। गुजराती-मारवाड़ी दलालों के साथ सांठगांठ करके अपने शेयरों की कीमतों को अवास्तविक स्तर तक पहुंचा रहे हैं। समय आ गया है कि सेबी और वित्त मंत्रालय इसमें हस्तक्षेप करें और छोटे निवेशकों को भारी नुकसान होने से पहले जांच करें।” यह ट्वीट कल शेयर बाजार में आई तेज गिरावट के बाद आया है, जब बीएसई सेंसेक्स दिन के कारोबार में करीब 1,000 अंक लुढ़ककर 74,000 अंक से नीचे आ गया था। इसी तरह एनएसई का निफ्टी भी 200 अंक से ज्यादा गिरकर 22,450 अंक से नीचे आ गया था।हर्षद मेहता घोटाले के बाद केतन पारेख घोटाला दूसरा सबसे महत्वपूर्ण घोटाला था जिसने बॉम्बे स्टॉक एक्सचेंज को हिलाकर रख दिया था। हर्षद मेहता से ट्रेडिंग के गुर सीखने वाले केतन पारेख ने भी वही काम किया जो उससे 10-15 साल पहले हर्षद मेहता ने किया था। साल 2000 की शुरुआत और उससे पहले केतन पारेख ने भांप लिया था कि देश में आईटी सेक्टर तेजी ग्रोथ दिखाएगा इसलिए केतन पारेख ने आईटी शेयरों में निवेश करना शुरू कर दिया। लेकिन, इस मौके का फायदा उठाने के लिए उसने छोटी कंपनियों को चुना और ‘पंप एंड डंप’ के जरिए बड़ा पैसा बनाया था।शेयर बाजार को केतन पारेख के घोटाले की खबर तब पता चली जब बैंक ऑफ इंडिया की मुंबई शाखा ने आरोप लगाया कि केतन पारेख ने उनके साथ 137 करोड़ रुपये की धोखाधड़ी की है। इसके बाद स्टॉक मार्केट में बड़ी गिरावट आई थी।